The Definitive Guide to sidh kunjika
शृणु देवि प्रवक्ष्यामि कुञ्जिकास्तोत्रमुत्तमम् ।
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति चतुर्थोऽध्यायः
श्री लक्ष्मी अष्टोत्तर शतनाम स्तोत्रम्
अभक्ते नैव दातव्यं गोपितं रक्ष पार्वति।।
देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति चतुर्थोऽध्यायः
Salutations into the Goddess that has the form of root chants Who because of the chant “Goal” has the shape in the creator Who by the chant “Hreem” has the shape of one who normally takes care of anything And who from the chant “Kleem” here has the form of enthusiasm
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देवी माहात्म्यं दुर्गा सप्तशति चतुर्थोऽध्यायः
इस पाठ के करने से अष्टसिद्धियां प्राप्त होती हैं.
दकारादि श्री दुर्गा सहस्र नाम स्तोत्रम्
श्री महिषासुर मर्दिनी स्तोत्रम् (अयिगिरि नंदिनि)
कभी उड़ान नहीं भर पाएगी जेट एयरवेज, सुप्रीम कोर्ट ने एयरलाइन के ऐसेट्स बेचने का दिया आदेश
नमस्ते रुद्ररूपिण्यै नमस्ते मधुमर्दिनि।
ॐ अस्य श्रीकुंजिकास्तोत्रमंत्रस्य सदाशिव ऋषिः, अनुष्टुप् छंदः,